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एब्स्ट्रैक्ट:इमेज कॉपीरइटVIDEO GRABकथित गोरक्षकों के हाथों मारे गए पहलू ख़ान के मामले में राजस्थान की एक निचली अद
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कथित गोरक्षकों के हाथों मारे गए पहलू ख़ान के मामले में राजस्थान की एक निचली अदालत ने सभी छह अभियुक्तों को बरी कर दिया है.
कोर्ट ने इस मामले में अभियुक्तों विपिन यादव, रविंद्र कुमार, कालूराम, दयानंद, योगेश कुमार और भीम राठी को सबूतों के अभाव के चलते बरी किया है.
हरियाणा के नूंह के रहने वाले पहलू ख़ान की साल 2017 में राजस्थान के अलवर ज़िले में भीड़ ने पिटाई कर दी थी. इस घटना के दो दिन बाद तीन अप्रैल 2017 को 55 साल के पहलू ख़ान ने अस्पताल में दम तोड़ दिया था.
यह हमला उस समय हुआ था जब वह गायों को लेकर जयपुर से अपने गांव जा रहे थे. कथित तौर पर गौरक्षकों के इस हमले में उनके बेटे और अन्य भी ज़ख़्मी हो गए थे.
इमेज कॉपीरइटGetty Imagesक्या है मामला
भीड़ की पिटाई के बाद पहलू ख़ान की मौत होने पर पुलिस ने हत्या का मुक़दमा दर्ज़ कर अदालत में केस दाखिल कर दिया था.
इसके साथ ही पुलिस ने पहलू ख़ान के साथ गाड़ी में सवार अजमत और रफ़ीक के ख़िलाफ़ गौ-तस्करी का मुक़दमा भी दर्ज़ किया था.
अजमत और रफ़ीक के अलावा ड्राइवर अर्जुन यादव और उसके पिता जगदीश को भी गो-तस्करी में अभियुक्त बनाया गया. अर्जुन गाय लेकर आ रही गाड़ी के ड्राइवर थे और जगदीश उस गाड़ी के मालिक.
इमेज कॉपीरइटPTI
पुलिस का कहना था कि पहलू ख़ान के पास गाय ख़रीद कर लाने के दस्तावेज नहीं मिले, लिहाज़ा यह गौ-तस्करी से जुड़ा मामला था.
पहलू ख़ान के परिजन आरोप लगाते रहे हैं कि पुलिस ने जाँच में नामज़द प्रमुख लोगों के ख़िलाफ़ सबूत न मिलने की बात कह कर क्लीन चिट दे दी और पहलू ख़ान के साथ आ रहे लोगों को गो-तस्करी में अभियुक्त बना दिया.
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